“कण-कण में राम”: सेठ एम.आर. जैपुरिया स्कूल बनारस पड़ाव कैंपस में इंटेक वाराणसी चैप्टर द्वारा आयोजित सांस्कृतिक प्रतियोगिता में उमड़ा राममय उत्साह

वाराणसी। भगवान श्रीराम के आदर्शों, मर्यादा और जीवन मूल्यों को केंद्र में रखकर बुधवार को सेठ एम.आर. जैपुरिया स्कूल्स बनारस पड़ाव कैंपस में एक अनूठे सांस्कृतिक कार्यक्रम “कण-कण में राम” का आयोजन किया गया। यह आयोजन इंटेक वाराणसी चैप्टर के तत्वावधान में किया गया, जिसमें बनारस और चंदौली के 25 से अधिक प्रतिष्ठित विद्यालयों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया।

कार्यक्रम का उद्देश्य नई पीढ़ी में मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम के आदर्शों, मर्यादा और मानवीय मूल्यों के प्रति सम्मान और प्रेरणा का संचार करना था। प्रतियोगिता में विद्यार्थियों ने नृत्य नाटिका, नाट्य मंचन, संगीत, संवाद प्रस्तुति और पावर पॉइंट प्रेजेंटेशन के माध्यम से श्रीराम के व्यक्तित्व की विविध झलकियाँ प्रस्तुत कीं, जिससे पूरा सभागार राममय वातावरण में डूब गया।

राम

कार्यक्रम का शुभारंभ दीप प्रज्वलन और विघ्नहर्ता श्री गणेश की नृत्य वंदना से हुआ। इस अवसर पर मुख्य अतिथि के रूप में इंटेक वाराणसी के संयोजक अशोक कुमार, सह संयोजक निर्मल जोशी, अनिल केशरी, मृदुल जोशी, आर्य महिला पीजी कॉलेज की सहायक प्रोफेसर सुमन सिन्हा और टूरिस्ट गाइड एसोसिएशन वाराणसी के वरुण अग्रवाल उपस्थित रहे।

विद्यालय के प्रधानाचार्य श्री आशीष सक्सेना ने अपने संबोधन में कहा कि ऐसे आयोजनों से विद्यार्थियों में भारतीय संस्कृति की जड़ें और मजबूत होती हैं तथा वे मर्यादा, सत्य और कर्तव्य के प्रति सजग बनते हैं। अतिथि अशोक कुमार ने छात्रों को संबोधित करते हुए कहा कि श्रीराम का जीवन आज के युवाओं के लिए प्रेरणा का सबसे बड़ा स्रोत है।

प्रतियोगिता का संचालन लॉटरी प्रणाली के माध्यम से हुआ, जिसमें सभी विद्यालयों ने शानदार प्रदर्शन किया। निर्णायक मंडल में श्री वरुण अग्रवाल और सुमन सिन्हा शामिल रहे। परिणामस्वरूप, प्रथम स्थान सेठ एम.आर. जैपुरिया स्कूल बनारस पड़ाव कैंपस को मिला, द्वितीय स्थान सनबीम स्कूल मुगलसराय और तृतीय स्थान संत अतुलानंद स्कूल को प्राप्त हुआ।

कार्यक्रम का समापन पुरस्कार वितरण और धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ, जिसे इंटेक सदस्यों एवं कार्यक्रम की कुशल संचालिका अनामिका सिंह ने प्रस्तुत किया।

इस अवसर पर विद्यालय परिवार के वरिष्ठ पदाधिकारी — अध्यक्ष दीपक बजाज, प्रबंध निदेशक मनोज कुमार बजाज, कार्यकारी निदेशक श्याम सुंदर बजाज, गौरांग बजाज, पूजा बजाज, सहित सभी शिक्षक-शिक्षिकाएँ और छात्र-छात्राएँ मौजूद रहे। पूरे कार्यक्रम के दौरान वातावरण में “जय श्रीराम” के उद्घोष गूंजते रहे, जिसने कार्यक्रम को एक आध्यात्मिक और सांस्कृतिक ऊँचाई प्रदान की।

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