AIR INDIA AI-171 CRASH : एअर इंडिया की फ्लाइट AI-171 के हालिया हादसे को लेकर जारी AAIB (एयरक्राफ्ट एक्सीडेंट इन्वेस्टिगेशन ब्यूरो) की प्रारंभिक रिपोर्ट ने पायलट समुदाय में चिंता की लहर दौड़ा दी है। इस रिपोर्ट में दिए गए तकनीकी विवरण और पायलटों के बीच हुई बातचीत ने कई नए सवाल खड़े कर दिए हैं—मुख्यतः यह कि “फ्यूल कंट्रोल स्विच किसने बंद किया?”
ALPA-I ने उठाए पारदर्शिता पर सवाल
एयरलाइन पायलट्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (ALPA-I) के अध्यक्ष कैप्टन सैम थॉमस ने कहा कि कॉकपिट में पायलटों के बीच यह चर्चा कि ‘फ्यूल कट ऑफ किसने किया’, बेहद गंभीर चिंता का विषय है। उन्होंने यह भी पूछा कि AIR INDIA हादसे के समय इमरजेंसी लोकेटर ट्रांसमीटर (ELT) ने काम क्यों नहीं किया। साथ ही उन्होंने रिपोर्ट पर अधिकृत हस्ताक्षर न होने और जांच प्रक्रिया की गोपनीयता पर सवाल उठाते हुए पारदर्शिता की मांग की।
कैप्टन रंगनाथन का दावा: ‘पायलट ने जानबूझकर किया फ्यूल कट ऑफ’
पूर्व बोइंग 737 कमांडर और उड़ान प्रशिक्षक कैप्टन मोहन रंगनाथन ने आरोप लगाया कि यह एक जानबूझकर किया गया फ्यूल कट ऑफ था। उन्होंने कहा कि AIR INDIA PLANE के पहले दायां और फिर कुछ सेकंड में बायां इंजन बंद हुआ—इससे संकेत मिलता है कि फ्यूल कंट्रोल स्विच क्रमवार बंद किए गए।
रिपोर्ट की विसंगतियां भी आईं सामने
सेफ्टी एक्सपर्ट कैप्टन अमित सिंह ने रिपोर्ट की विश्वसनीयता पर सवाल खड़े करते हुए कहा कि यह स्पष्ट नहीं है कि इंजन ने वास्तव में कब काम करना बंद किया। रिपोर्ट में AIR INDIA PLANE टेकऑफ के बाद Ram Air Turbine (RAT) के एक्टिवेशन और फ्यूल कट ऑफ के टाइम स्टैम्प में विसंगतियां हैं।
बोइंग की चुप्पी भी सवालों के घेरे में
एक वरिष्ठ बोइंग कमांडर ने नाम न जाहिर करने की शर्त पर कहा कि बोइंग की ओर से चेतावनी न जारी करना यह साबित नहीं करता कि सिस्टम में खामी नहीं थी। उन्होंने कहा कि अतीत में भी जब तक कई हादसे नहीं हो गए, तब तक कंपनियों ने डिजाइन की खामियों को नहीं स्वीकारा—जैसे कि 2018 का लायन एयर 737 मैक्स हादसा।
क्या कहती है जांच की नैतिकता ?
विशेषज्ञों की मांग है कि इस तरह के हादसों की जांच में अनुभव रखने वाले पायलटों को पर्यवेक्षक के रूप में शामिल किया जाना चाहिए। इससे न केवल पारदर्शिता बढ़ेगी, बल्कि जांच की नैतिकता और निष्पक्षता भी सुनिश्चित हो सकेगी।
AIR INDIA PLANE हादसे से जुड़े ये तकनीकी और मानव-निर्णय से जुड़े सवाल अब जांच एजेंसियों के लिए कड़ी चुनौती बन गए हैं। क्या वाकई पायलट ने फ्यूल स्विच जानबूझकर बंद किया या यह किसी तकनीकी खामी का नतीजा था? यह आने वाली विस्तृत जांच में साफ हो सकेगा।